कौन करे अब पूजा अर्चनकौन गोल घुमाए मालाजीना भजन लगता है मरना हवन लगता हैसुख दुःख हुए समान सभी पर ये उलझन फिर भी है बाकी वीतरागी अगर हो गई मैं ईश्वर का फिर क्या होगा.........
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